उत्तराखंड की राजधानी देहरादून के अंतर्गत आने वाले एक गांव में नशाखोरी के खिलाफ लोग खासा जागरुक हैं. देहरादून के खुशहालपुर गांव में नशाखोरी के खिलाफ पंचायत बुलाई गई. पंचायत में गांव के 8 लोगों का हर तरीके से बहिष्कार करने का ऐलान किया गया है. खुशहालपुर गांव के लोगों ने नशा बेचने वालों का बहिष्कार किया है. गांव के लोगों ने समाजिक परिवर्तन नाम की संस्था बनाई है.
इसी संस्था ने सभी ग्राम वासियों के साथ मिलकर नशे के खिलाफ एक महापंचायत की गई, जो लोग 10 साल से ज्यादा के समय से नशे का कारोबार कर रहे थे. उन लोगों का सामूहिक एवं सामाजिक बहिष्कार किया गया हैं. ग्राम वासियों ने उन कारोबारी में 8 कारोबारीयों के नाम चिन्हित किए, जो बड़ी मात्रा में नशे का कारोबार कर रहे थे.
पंचायत ने बताया कि जिन 8 लोगों को बहिष्कार किया है उनके नामनसीम, मेराज, सावेज, शहजाद उर्फ दीना, सद्दाम, मेराज, शबनम, गुलशाना हैं. ये सभी लोग खुशहालपुर के ही रहने वाले हैं.
अच्छे और बुरे काम से ग्रामीण रहेंगे दूर
राजधानी देहरादून और आसपास के इलाकों में नशे का प्रकोप दिन पर दिन बढ़ रहा है. इसके लिए पुलिस प्रशासन ने कई ऑपरेशन भी चलाए हैं. इसके बावजूद अभी भी कई गांव नशे की चपेट में हैं. खुशहालपुर के लोगों ने महापंचायत कर ऐसे सभी लोगों के बहिष्कार के लिए एक शर्त रखी है. महापंचायत में कहा गया कि नशे के कारोबार करने वालों के यहां अच्छे और बुरे काम जैसे की शादी, मृत्यु आदि में कोई भी ग्राम वासी शामिल नहीं होगा.
पुलिस ने कहा कि नशाखोरों पर होगी कार्रवाई
इस मौके पर पर महापंचायत में सामाजिक परिवर्तन संस्था के संयोजक मौलाना मुकर्रम कासमी, अध्यक्ष परवेज अली, उपाध्यक्ष मोहम्मद फैजान, सचिव शाहनवाज खान लोग शामिल रहे. इस मामले में पुलिस अधीक्षक देहरादून ग्रामीण लोकजीत सिंह से ने कहा कि इस तरह के जितने मामले भी आएंगे. पुलिस उसमें जांच करेंगी. जो भी नशे के कारोबार में लिप्त है, उन लोगो पर सख्त से सख्त कार्रवाई की जाएगी.
Comments are closed, but trackbacks and pingbacks are open.