गुना। आठ सूत्रीय मांगों को लेकर जिले की सभी नगर पालिका और नगर परिषद में 25 सितंबर से सफाई कर्मियों की अनिश्चितकालीन हड़ताल शुरू हो गई है, जिससे नगर पालिका क्षेत्र में सफाई नहीं होने से शहर कचरे में होता जा रहा है। दो दिनों में शहर के वार्डों, कालोनियों और सड़कों की सफाई नहीं होने से कचरे के ढेर लगते जा रहे है। इसके साथ ही गंदगी होने से लोगों को परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है।
दरअसल अखिल भारतीय सफाई मजदूर कांग्रेस ट्रेड यूनियन द्वारा बीते कई दिनों से अपनी 18 सूत्रीय मागों को लेकर आंदोलन किया जा रहा है, जिसमें पूर्व में ही यूनियन द्वारा शासन को मांग पत्र दिया हुआ है। वहीं मांगों को निराकरण नहीं होने से 23-24 सितंबर में सफाई कर्मचारी धरने पर बैठे थे, वहीं 25 सितंबर से अनिश्चितकालीन हड़ताल पर चले गए है।
सफाईकर्मियों की है ये मांगे
सफाई कर्मचारी यूनियन द्वारा नगर निगम, नगर पालिका और नगर परिषद ठेका प्रथा खत्म करने के साथ ही स्थाई भर्ती, मेडिकल के आधार पर स्वेच्छिक सेवा निवृति, समान पद समान वेतन का लाभ, सेवा में कार्य करते हुए अकस्मात मृत्यु पर अनुकंपा नियुक्ति, सभी सफाई कर्मचारियों को नियमितीकरण कर स्थाईकरण का लाभ देना, सफाई कामगार का पद सृजन किया जाए व सभी कर्मचारियों को एक समान वेतन 25000 प्रतिमाह भुगतान करने संबंधी मांगों को लेकर अनिश्चितकालीन हड़ताल पर चले गए है, जिससे शहर में सभी जगहों पर कचरा फैलता जा रहा है।
सफाईकर्मचारी संघ के जिला अध्यक्ष महेश पारोछिया ने बताया कि 23-24 में दो दिवसीय धरना दिया गया था, जिसमें मांगों का निराकरण नहीं होने से मंगलवार से सभी सफाई कर्मचारी अनिश्चितकालीन हड़ताल पर चले गए हैं।
गंदगी के लग रहे अंबार
सोमवार से सफाई कर्मचारी संघ की अनिश्चितकालीन हड़ताल शुरू होने से शहर में सड़कों की सफाई नहीं हो पा रही है। जिससे शहर के वार्डों, कालोनियों व सड़कों पर गंदगी के अंबार लगते जा रहे है। आलम यह है कि दुर्गंध के चलते लोगों को मुंह पर कपड़ा डालकर निकलना पड़ रहा है। दो दिनों की हड़ताल में ही जब शहर का ये हाल है, अगर हड़ताल और ज्यादा दिनों चलती है तो लोगों को काफी परेशानियों का सामना करना पड़ सकता है।
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