इंदौर। करवा चौथ का व्रत हर शादीशुदा महिला के लिए खास होता है। इस साल यह पर्व 1 नवंबर को मनाया जाएगा। इस दिन विवाहित महिलाएं अपने पति के लिए निर्जला व्रत रखती हैं। रात को चंद्रमा के दर्शन के बाद अपने पति के हाथों से पानी पीकर अपना व्रत खोलती हैं। इस व्रत के लिए कई नियम बताए गए हैं, जिनका पालन सभी व्रती स्त्रियों को करना चाहिए। ऐसे में हर व्रत रखने वाली महिला को इन नियमों को जानकर ही व्रत शुरू करना चाहिए। आइए, व्रत के दौरान किन बातों का ध्यान रखना चाहिए।
भूलकर भी न दान करें ये वस्तुएं
धार्मिक मान्यताओं के अनुसार, करवा चौथ के दौरान महिलाओं को सुहाग का सामान दान नहीं करना चाहिए। इससे आपके वैवाहिक जीवन में परेशानियां बढ़ सकती हैं। खासकर वो चीजें जो सुहाग का प्रतीक मानी जाती हैं जैसे चूड़ियां, बिंदी, सिन्दूर, मेहंदी, मंगलसूत्र, बिछिया, आलता आदि। व्रत खोलने के बाद या अगले दिन आप अपनी सास को सुहाग की सामग्री दे सकते हैं। इससे आपके रिश्ते में मधुरता आएगी।
इन चीजों का न करें उपयोग
ऐसा भी कहा जाता है कि व्रत के दौरान काली और सफेद चीजें पहनने से बचना चाहिए। व्रत के दौरान सोना भी नहीं चाहिए। साथ ही भूलकर भी तामसिक चीजों का सेवन नहीं करना चाहिए। इसका प्रभाव आपकी निजी जिंदगी पर पड़ता है।
सोलह श्रृंगार का महत्व
करवा चौथ के दौरान व्रत करने वालों को सरगी का सेवन करना चाहिए। इसके अलावा इस शुभ दिन पर सोलह श्रृंगार करके शिव परिवार की पूजा करनी चाहिए। बस ये छोटी-छोटी बातें आपके व्रत को पूरा कर देती हैं।
डिसक्लेमर
‘इस लेख में दी गई जानकारी/सामग्री/गणना की प्रामाणिकता या विश्वसनीयता की गारंटी नहीं है। सूचना के विभिन्न माध्यमों/ज्योतिषियों/पंचांग/प्रवचनों/धार्मिक मान्यताओं/धर्मग्रंथों से संकलित करके यह सूचना आप तक प्रेषित की गई हैं। हमारा उद्देश्य सिर्फ सूचना पहुंचाना है, पाठक या उपयोगकर्ता इसे सिर्फ सूचना समझकर ही लें। इसके अतिरिक्त इसके किसी भी तरह से उपयोग की जिम्मेदारी स्वयं उपयोगकर्ता या पाठक की ही होगी।’
Comments are closed, but trackbacks and pingbacks are open.